कर्मचारियों को राशन-पानी जमा रखने और परिवार को कश्मीर में नहीं रखने के निर्देश!

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जम्मू कश्मीर: घाटी में दस हज़ार अतिरिक्त सैनिकों की तैनाती के बाद संशय और अफवाहों का बाजार गर्म है। इस बीच रेलवे सुरक्षा बल के सीनियर डिविजनल सिक्योरिटी कमिश्नर के कार्यालय की तरफ से कथित रुप से एक पत्र जारी किया गया है, जिसमें कश्मीर घाटी में आपात स्थिति को देखते हुए कर्मचारियों को राशन-पानी जमा रखने और अपने परिवार को कश्मीर में नहीं रखने के निर्देश दिए गए हैं। इस कथित पत्र के खुलासे के बाद से अफवाहों का बाजार पूरी तरह से गर्मा गया है।

मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, रेलवे सुरक्षा बल (आरपीएफ) के सीनियर डिविजनल सिक्योरिटी कमिश्नर कार्यालय की तरफ से कथित रूप से जारी पत्र में कश्मीर घाटी में आपात स्थिति का हवाला देते हुए कर्मचारियों से राशन-पानी जमा करने और अपने परिवार को कश्मीर में नहीं रखने को कहा गया है। इसमें आपातकालीन स्थितिका हवाला देते हुए छुट्टियों पर रोक की बात कही है। हालाँकि, रेल मंत्रालय ने तुरंत इस पत्र को खारिजकरते हुए कहा कि संबंधित अधिकारी इस तरह का पत्र जारी करने के लिए अधिकृत नहीं है। साथ ही उसने ऐसा करने के लिए सक्षम प्राधिकारी से अनुमति भी नहीं ली है।

ख़बरों के मुताबिक, रेल मंत्रालय की तरफ से स्पष्टीकरण जारी होने के बाद फिरोजपुर रेलवे डिविजन के सीनियर डिविजनल सुरक्षा अधिकारी पिछले सप्ताह एक साल की स्टडी लीव पर चले गए हैं। पत्र के अनुसार, ‘विभिन्न सुरक्षा एजेंसियों की तरफ से मिले इनपुट के बाद आरपीएफ बडगाम के सहायक सुरक्षा आयुक्त सुदेश नुग्याल की अध्यक्षता में 27 जुलाई को ऐहतियातन सुरक्षा बैठकबुलाई गई। इसमें कश्मीर घाटी में बिगड़ती स्थिती का अंदेशा जताया गया। साथ ही कश्मीर में लंबे समय से कानून और व्यवस्था के मुद्दे को उठाया गया। साथ ही माना जा रहा है कि, उत्तर रेलवे के महानिदेश सोमवार को श्रीनगर जाएंगे और इस बारे में संबंधित अधिकारी से बात करेंगे।

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