हाईकोर्ट ने लगाई स्टोनोग्राफर/निजी सहायक के परीक्षा परिणाम पर रोक

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नैनीताल: हाईकोर्ट ने अधीनस्थ चयन आयोग में स्टोनोग्राफर/निजी सहायक के 176 पदों की नियुक्ति पर अंतरिम आदेश पारित कर संशोधित परीक्षा परिणाम पर रोक लगा दी है। कोर्ट ने मामले की अगली सुनवाई के लिए 17 मई की तिथि नियत की है। न्यायमूर्ति लोकपाल सिंह की एकलपीठ के समक्ष मामले की सुनवाई हुई।
मामले के अनुसार काशीपुर निवासी शशांक व अन्य ने हाईकोर्ट में याचिका दायर कर कहा था कि, 2015 में उत्तराखंड अधीनस्थ चयन आयोग ने उत्तराखंड के विभिन्न विभागों में स्टेनोग्राफर / निजी सहायक के 176 पदों हेतु विज्ञप्ति जारी की थी। याचिका में कहा कि, लिखित परीक्षा के बाद 120 अभ्यर्थियों की मेरिट लिस्ट तैयार की गयी। शैक्षणिक प्रमाण पत्रो के जाँच के बाद आयोग ने 120 अभियर्थियों में से 24 को आशुलिपिक परीक्षा में पुनर्मूल्यांकन के द्वारा बाहर कर दिया। जिसको याचिकाकर्ता ने हाईकोर्ट में चुनौती दी थी। याचिकर्ता का यह भी कहना था कि, पुनर्मूल्यांकन का अधिकार इनको नही है, जिन लोगो का चयन किया गया शार्ट हैंड परीक्षा में उनसे ज्यादा गलतियां करने वाले अभियर्थियों को सफल घोषित कर दिया गया है। आयोग की ओर से कहा गया कि, शार्ट परीक्षा कराने के लिए उनके पास मानक तय नही है। पक्षों की सुनवाई के बाद हाईकोर्ट की एकलपीठ ने संशोधित परीक्षा परिणाम पर रोक लगा दी है।

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