बाघों की मौत पर मौत, कब रुकेगा ये सिलसिला

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रामनगर: कॉर्बेट टाइगर रिजर्व से सटे अल्मोड़ा फारेस्ट डिवीजन में बाघ का शव मिला है। शव मिलने की सूचना पर वन विभाग के अधिकारी मौके पर पहुंच गए हैं। उत्तराखंड में पिछले एक सप्ताह में 3 बाघों की मौत के मामले सामने आ चुके हैं। एक बाद एक बाघों की मौत का सिलसिला कब थमेगा ?

काॅर्बेट टाइगर रिजर्व और उससे लगे जंगलों में लागतार बाघों के मौत के मामले सामने आ रहे हैं। इसके अलावा राजाजी नेशनल पार्क में भी हाथियों की लगातार मौत हो रही है। जांच के नाम पर एक ही बात निकल आती है। अधिकारी मौके पर जाकर कह देते हैं कि बाघ या हाथी की मौत आपसी संघर्ष में हुई है। सवाल यह उठता है कि क्या जंगहलों में जानवरों के बीच इतना संघर्ष हो रहा है कि हर दिन किसी न किसी जानवर की मौत हो रही है। अगर जगंली जानवरों में आपसी संघर्ष हो भी रहा है कि तो उसको लेकर कोई ठोस प्लान क्यों नहीं बनाया जाता। अब तक इस पर कोई स्टडी क्यों नहीं की गई।

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